56 इंच की छाती तब 12 इंच की क्यों हो जाती है ?
मावल की सभा में शरद पवार ने उठाया सवाल
पवार ने कहा कि, नरेंद्र मोदी ने पिछले चुनाव में जनहित के काम करने, उद्योग व्यवसाय को बढ़ावा देने, बेरोजगारों को रोजगार देने, देश की एकता बनाये रखने, किसानों के हित का जतन करने जैसे आश्वासन देकर वोट मांगे। लोगों ने उन्हें मौका भी दिया मगर मोदी ने उनके साथ धोखाधड़ी की। नोटबन्दी से काला धन बाहर निकालने का भरोसा दिलाया मगर ये भूल गये कि काला धन उद्योगपतियों के पास होता है न कि आम जनता के पास। नोटबन्दी का फैसला अविचार से लिया गया फैसला था। उससे 15 लाख लोगों की नौकरियां गई। हर स्तर पर भाजपा सरकार विफल साबित रही है। जबकि देश का सही मायने में विकास कांग्रेस ने ही किया। चाकण, तलेगांव, शिरूर, हिंजवड़ी में औद्योगिक बसाहटें निर्माण कर रोजगार के भारी अवसर पैदा किये।
उन्होंने आगे कहा, देश की राजनीति बदल रही है। यशवंतराव चव्हाण ने जैसे 1967 में जैसे युवाओं को मौका दिया। वही विचार कर काँग्रेस और राष्ट्रवादी काँग्रेस ने नई पीढ़ी के युवाओं को लोकसभा चुनाव में मौका दिया है। संग्राम जगताप, धनंजय महाडिक, पार्थ पवार, संजयमामा शिंदे, डॉ. अमोल कोल्हे जैसे नए चेहरे सामने लाये हैं। उन्हें मौका देने के लिहाज से चुनाव न लड़ने का फैसला किया। उन्हें नेतृत्व का मौका देकर राज्य की आम जनता के मसलों को हल करता देखने की तमन्ना है। यह भावनात्मक प्रतिपादन भी उन्होंने किया। मावल लोकसभा चुनाव क्षेत्र से काँग्रेस-राष्ट्रवादी काँग्रेस, शेकापा, स्वाभिमानी शेतकरी संगठन, आरपीआय कवाडे, गवई गुट, स्वाभिमानी रिपब्लिकन पार्टी महागठबंधन के प्रत्याशी पार्थ पवार के प्रचारार्थ तलेगांव दाभाडे के वैशाली मंगल कार्यालय में आयोजित सभा के मंच पर राष्ट्रवादी के जिलाध्यक्ष प्रदीप गारटकर, स्वाभिमानी रिपब्लिकन पार्टी के रमेश सालवे, पूर्व सांसद नाना नवले, पूर्व विधायक कृष्णराव भेगडे, तालुकाध्यक्ष बबनराव भेगडे, म्हाडा के पूर्व अध्यक्ष विजय कोलते, जालिंदर कामठे, विधायक जयदेव गायकवाड, रामराव वलकुटे, माऊली दाभाडे, बापूसाहेब भेगडे, बालासाहेब नेवाले आदि समेत महागठबंधन के कई आला नेता मौजूद थे।