हैरतअंगेज रिकॉर्डधारी इस क्रिकेटर ने डिप्रेशन में आकर मारी खुद को गोली, महज 41 साल थी उम्र

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नई दिल्ली : समाचार ऑनलाइन – ऑस्ट्रेलिया के ऑलराउंडर अलबर्ट ट्रॉट ने 41 साल की उम्र में खुद को गोली मार ली थी, लेकिन इस क्रिकेटर के नाम बड़े चौंकाने वाले रिकॉर्ड हैं। करिश्माई क्रिकेटर ट्रॉट का टेस्ट करियर महज पांच टेस्ट मैच का रहा। उन्होंने ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड दोनों के लिए टेस्ट क्रिकेट खेला।

इस रिकार्ड को तोड़ना नहीं आसान : ट्रॉट अपने पहले ही टेस्ट की एक पारी में 8 विकेट लेने वाले पहले गेंदबाज बन गए। सबसे कम रन देकर 8 विकेट लेने का रिकॉर्ड आज भी दाहिने हाथ के स्लो बॉलर ट्रॉट के नाम है। इसके बावजूद जब ऑस्ट्रेलियाई सलेक्टर्स ने उन्हें तवज्जो नहीं दी और 1896 के दौरे के लिए टीम में नहीं चुना, तो खुद के खर्च पर इंग्लैंड चले गए, जहां उन्हें काउंटी क्रिकेट में मिडिलसेक्स की तरफ से खेलने का मौका मिल गया। इसी के बाद 1899 में ट्रॉट ने इंग्लैंड की ओर से दक्षिण अफ्रीका में 2 टेस्ट खेले। 1899 में जब ऑस्ट्रेलिया की टीम इंग्लैंड दौरे पर आई तो ट्रॉट ने लॉर्ड्स में 31 जुलाई को एमसीसी और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेले गए मैच में ऑस्ट्रेलिया के मॉन्टी नोबल की गेंद पर ऐसा छक्का जमाया कि इतिहास बना गया। ट्रॉट लॉर्ड्स के पवेलियन के ऊपर से छक्का (120 मीटर) जड़ने वाले एकमात्र खिलाड़ी हैं।

बीमारी के बाद डिप्रेशन में चले गए थे, खुदकुशी की : 1910 में उन्होंने प्रथम श्रेणी क्रिकेट से भी खुद को अलग कर लिया और अंपायरिंग में हाथ आजमाया। इस बीच वह ड्रॉप्सी (जलोदर- पेट में पानी भरना) नामक बीमारी के शिकार हुए। धीरे-धीरे ट्रॉट ज्यादा शराब पीने लगे। इसके बाद लगातार डिप्रेशन में रहे। आखिरकार ट्रॉट ने 30 जुलाई 1914 को खुद को पिस्टल से गोली मार ली।

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