वाईसीएम के ब्लड बैंक में बचे मात्र 7 प्लाज्मा बैग

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प्लाज्मा दान को लेकर जागरूकता पैदा करने की जरूरत – पिंपरी। महामारी कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच प्लाज्मा थेरेपी संक्रमितों के लिए जीवनदायी साबित हो रही है। हालांकि प्लाज्मा दान को लेकर लोगों में जागरूकता का अभाव कायम नजर आ रहा है। प्लाज्मा की मांग की तुलना से प्लाज्मा दान करनेवालों की संख्या कम ही है। प्रतिदिन औसतन 15 प्लाज्मा बैग की मांग है मगर प्लाज्मा दान करने के लिए मात्र 5 से 7 लोग ही आगे आ रहे हैं। पिंपरी चिंचवड़ मनपा के वाईसीएम हॉस्पिटल के ब्लड बैंक में 20 अगस्त तक 200 मिली के मात्र 348 प्लाज्मा बैग संकलित किए जा सके हैं। उनमें से 341 बैग इस्तेमाल में लायी जा चुकी हैं जबकि मात्र 7 बैग ही स्टॉक में बची रहने की जानकारी सामने आयी है।

स्वास्थ्य विभाग से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार रविवार तक पिंपरी चिंचवड़ में कोरोना से संक्रमित मरीजों की संख्या 41 हजार 648 तक पहुंच चुकी है। कोरोना की चपेट में आकर अब तक कुल 777 मरीजों की मौत हुई है जबकि 6629 मरीजों का इलाज चल रहा है। शहर में रोजाना हजार के आसपास नए संक्रमित मिल रहे हैं। अब तक कुल 27 हजार 957 मरीज महामारी को मात देने में सफल रहे हैं। कोरोना से स्वस्थ हुए मरीजों के खून में से लिया गया प्लाज्मा संक्रमित मरीज को देने पर उसकी इम्युनिटी में वृद्धि हाेती है और मरीज राेगमुक्त हाे जाता है। मनपा के वाईसीएम हाॅस्पिटल में प्लाज्मा थेरेपी बहुत कारगर साबित हुई है। जिन मरीजों की हालत नाजुक होती है उनके लिए तो प्लाज्मा थेरेपी संजीवनी साबित हो रही है। इसके बावजूद संक्रमण मुक्त हुए लोग प्लाज्मा दान के लिए आगे नहीं आ रहे हैं।

आंकड़ों की मानें तो रोजाना औसतन 8 से 15 प्लाज्मा बैग की मांग हाेती है, मगर परोक्ष में प्लाज्मा दान करने के लिए 5 से 7 लोग ही आगे आ रहे हैं।
काेराेनामुक्त हुए लाेगाें के लिए प्लाज्मा दान करना बहुत जरूरी है, क्योंकि एक प्लाज्मा दाता तीन संक्रमित मरीजाें की जान बचा सकता है। कोरोना मुक्त हाेने के 28 दिन बाद प्लाज्मा दान किया जा सकता है। वेंटिलेटर पर रखे गए गंभीर मरीज प्लाज्मा दिए जाने के बाद न केवल उनकी जान बच जाती है बल्कि वे स्वस्थ हाे जाते हैं। मनपा के पास काेराेना से मुक्त हुए लाेगाें की पूरी जारकारियां हैं। उनसे संपर्क कर उन्हें प्लाज्मा दान के लिए प्रेरित करना जरूरी है। इसके लिए लोगों में जागरूकता पैदा करने की आवश्यकता है। मनपा के नगरसेवक व शहर की सेवाभावी संस्थाएं इसमें अहम भूमिका निभा सकते हैं। हालांकि शहर के कुछ जनप्रतिनिधि और सेवाभावी संस्थाएं प्लाज्मा दान के लिए अभियान छेड़ चुकी हैं मगर अब जरूरत उसे व्यापक रूप देने की है।

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